पटना मेडिकल कॉलेज अस्पताल (पीएमसीएच) का बहुप्रतीक्षित नया भवन बिहार के स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगा। इस आधुनिक सुविधा के भीतर, महिलाओं के लिए एक समर्पित कैंसर रोग विभाग स्थापित किया जा रहा है। यह विशेष रूप से स्त्री रोग संबंधी कैंसर के बढ़ते मामलों के मद्देनजर एक महत्वपूर्ण कदम है। वर्तमान समय में, अनेक महिलाएं विभिन्न प्रकार के कैंसर से प्रभावित हो रही हैं, विशेषकर वे जो उनके प्रजनन स्वास्थ्य से जुड़े हैं। इस प्रकार के कैंसर में स्तन कैंसर, सर्वाइकल कैंसर और ओवेरियन कैंसर प्रमुख हैं। एक विशेष स्त्री रोग संबंधी ऑन्कोलॉजी विभाग की स्थापना से न केवल इन गंभीर बीमारियों से पीड़ित महिलाओं को बेहतर और समय पर उपचार मिल सकेगा, बल्कि यह पूरे पूर्वी भारत के लिए आशा की एक नई किरण लेकर आएगा।
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) और राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के आंकड़े चिंताजनक तस्वीर पेश करते हैं। प्रतिवर्ष लाखों महिलाएं स्तन, गर्भाशय ग्रीवा और डिंबग्रंथि के कैंसर जैसी जानलेवा बीमारियों से जूझती हैं। बिहार जैसे राज्यों में, जहाँ स्वास्थ्य सुविधाओं और जागरूकता का स्तर अभी भी सीमित है, कई मामलों का निदान बहुत देर से होता है। इसका सीधा परिणाम यह होता है कि उपचार शुरू होने में विलंब होता है और मृत्यु दर में वृद्धि होती है। इस गंभीर समस्या को देखते हुए, पीएमसीएच द्वारा एक समर्पित महिला कैंसर विभाग की स्थापना अत्यंत प्रासंगिक और आवश्यक हो जाती है। यह विभाग महिलाओं को प्रारंभिक जांच, विशेषज्ञ परामर्श और अत्याधुनिक उपचार विधियों तक आसान पहुंच प्रदान करेगा।
पीएमसीएच का नवीन भवन उन्नत चिकित्सा तकनीकों और उपकरणों से सुसज्जित होगा। यहाँ महिलाओं के कैंसर उपचार के लिए अलग वार्ड, रेडिएशन थेरेपी, कीमोथेरेपी, उन्नत शल्य चिकित्सा और व्यक्तिगत परामर्श जैसी आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध होंगी। इसके अतिरिक्त, इस विभाग में उच्च प्रशिक्षित चिकित्सक और अनुभवी विशेषज्ञ नर्सों की एक समर्पित टीम तैनात की जाएगी। इस नए केंद्र की एक महत्वपूर्ण विशेषता ग्रामीण क्षेत्रों से आने वाली महिलाओं के लिए विशेष सहायता डेस्क की व्यवस्था होगी। यह डेस्क भाषा की बाधाओं को दूर करने और रोगियों को आवश्यक जानकारी तथा मार्गदर्शन प्रदान करने में सहायक सिद्ध होगी।
अब तक, बिहार में कैंसर से पीड़ित महिलाओं को दो मुख्य चुनौतियों का सामना करना पड़ता था। उन्हें या तो सामान्य कैंसर विभागों पर निर्भर रहना पड़ता था, जहाँ विशिष्ट स्त्री रोग संबंधी कैंसर के लिए पर्याप्त विशेषज्ञता उपलब्ध नहीं हो पाती थी, या फिर दिल्ली और मुंबई जैसे बड़े शहरों का रुख करना पड़ता था। इन शहरों की यात्रा न केवल अत्यधिक आर्थिक बोझ डालती थी, बल्कि उपचार प्रक्रिया में भी अनावश्यक देरी का कारण बनती थी। नए समर्पित विभाग के खुलने से, स्थानीय महिलाएं अपने घर के करीब ही उच्च गुणवत्ता वाली चिकित्सा देखभाल प्राप्त कर सकेंगी।
अस्पताल प्रबंधन ने स्पष्ट किया है कि यह विभाग केवल उपचार तक ही सीमित नहीं रहेगा, बल्कि महिलाओं में कैंसर की रोकथाम और जागरूकता बढ़ाने के लिए सक्रिय रूप से अभियान भी चलाएगा। उदाहरण के लिए, सर्वाइकल कैंसर जैसी बीमारियों को एचपीवी वैक्सीन और नियमित स्क्रीनिंग के माध्यम से काफी हद तक रोका जा सकता है। इसी प्रकार, स्तन कैंसर के मामले में भी शुरुआती पहचान जीवन बचा सकती है। इन महत्वपूर्ण संदेशों को जन-जन तक पहुंचाने के लिए अस्पताल विभिन्न जन जागरूकता कार्यक्रमों और स्वास्थ्य शिविरों का आयोजन करेगा।
पीएमसीएच में महिलाओं के लिए एक अलग कैंसर विभाग की स्थापना बिहार की स्वास्थ्य व्यवस्था को नई ऊंचाइयों पर ले जाएगी। यह पहल उन हजारों महिलाओं के लिए एक वरदान साबित होगी जो वर्षों से कैंसर से लड़ रही हैं और जिन्हें अब तक आवश्यक उपचार समय पर नहीं मिल पा रहा था। यह कदम न केवल राज्य में स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता में सुधार लाएगा, बल्कि यह महिलाओं के स्वास्थ्य और कल्याण के प्रति सरकार की प्रतिबद्धता को भी दर्शाता है।








